अगले साल फरवरी में होने वाली एआई इम्पैक्ट समिट की प्री समिट में पहुंचे केंद्रीय मंत्री जितिन प्रसाद ने कहा कि देश दुनिया में आने वाला समय एआई का है। मोबाइल से भी हजार गुना तेजी से एआई आ रहा है। इसके जमीन पर असर को देखने के लिए ही मोदी सरकार एआई समिट कराने जा रही है।
पीएम मोदी चाहते हैं कि एआई जितना निचले स्तर तक जाएगा, उतना ही इसका लाभ होगा। सरकार एआई फ़ॉर ऑल कार्यक्रम चलाने जा रही है। अगले कुम्भ में एआई का असर नजर आएगा। उन्होंने कहा, लोगों को दर-दर न भटकना पड़े। एआई आधारित तकनीक से उनका जीवन आसान हो।
उत्तराखंड को आईटी मंत्रालय पूरा सहयोग करेगा। शोध बहुत होता है लेकिन इंडस्ट्री के साथ लिंक नहीं करेंगे तो कोई लाभ नहीं। स्टूडेंट्स के लिए एआई रेवोल्यूशन बहुत अवसर लाएगा। खुद को इस काबिल बनाएं।
समिट के बारे में भी विस्तार से बताया
प्री समिट में आये एआई मिशन के निदेशक मोहम्मद सफीउल्लाह ने केंद्र सरकार की ओर से इसके प्रोत्साहन को दी जा रही मदद के बारे में बताया। उन्होंने अगले साल फरवरी में दिल्ली में होने जा रहे एआई इम्पैक्ट समिट के बारे में भी विस्तार से बताया।
समिट में उत्तराखंड के सचिव आईटी नितेश झा ने बताया कि जल्द ही प्रदेश में एआई नीति लाई जाएगी, जिससे एआई के इस्तेमाल की राह तैयार होगी। प्रदेश के 25 विश्वद्यालय में एक प्रतियोगिता होगी, जिसके टॉप-5 टीमों को चुना जाएगा। इसी प्रकार टॉप-5 एआई आधारित स्टार्टअप को चुना जाएगा। सरकार इनको स्पोर्ट करेगी।