जाली प्रमाणपत्रों के मामले में कड़ी कार्यवाही करें : मुख्य सचिव ।

देहरादूनः प्रदेश में जाली जन्म-मृत्यु प्रमाणपत्र बनाने को लेकर सरकार ने रुख कड़ा किया है। मुख्य सचिव राधा रतूड़ी ने जाली प्रमाणपत्रों के मामले को गंभीरता से लेते हुए कड़ी कार्यवाही के निर्देश दिए हैं। जनता को जालसाजों से सचेत करते हुए उन्होंने कहा कि प्रमाणपत्र बनाने के लिए अपने क्षेत्र के रजिस्ट्रार से ही संपर्क करें।
सोमवार को सचिवालय में मुख्य सचिव राधा रतूड़ी ने राज्य में चल रहे जन्म-मृत्यु पंजीकरण कार्य की सभी संबंधित विभागों के साथ समीक्षा की। उन्होंने आम जनता के लिए जन्म मृत्यु पंजीकरण की प्रक्रिया अत्यंत सरल बनाने के निर्देश दिए, ताकि उन्हें भटकना न पड़े। कहा कि जन्म प्रमाणपत्र महत्वपूर्ण दस्तावेज है। इसे प्राप्त करने के लिए परिवार जालसाजों के झांसे में आकर मोटी धनराशि के बदले जाली प्रमाणपत्र प्राप्त कर लेते हैं और बाद में उन्हें कठिनाई का सामना करना पड़ता है। इसके अतिरिक्त जन्म-मृत्यु पंजीकरण की केंद्र सरकार की आधिकारिक

वेबसाइट से मिलती-जुलती वेबसाइट के मामले भी संज्ञान में आए हैं।

मुख्य सचिव ने कहा कि केंद्र सरकार ने जन्म-मृत्यु पंजीकरण के फर्जी मामलों की रोकथाम और आम जनता के लिए पंजीकरण की प्रक्रिया सरल एवं सुदृढ़ बनाने के नया सुदृढ़ पोर्ट (dc.crsorgi.gov.in) लांच किया है। इसके माध्यम से कोई भी पोर्टल पर अपनी आइडी बनाकर परिवार में होने वाले जन्म-मृत्यु के पंजीकरण के लिए घर बैठे आवेदन कर सकता है। इसके लिए केवल एक ईमेल व एक मोबाइल नंबर की आवश्यकता होगी। आवेदन की स्थिति को किसी भी समय देखा जा सकता है। संबंधित रजिस्ट्रार आवेदन के साथ संलग्न दस्तावेजों से संतुष्ट होने पर आवेदन को स्वीकार कर डिजिटल प्रमाणपत्र जारी करता है। इसकी प्रति आवेदक के ईमेल आइडी पर तत्काल उपलब्ध हो जाती है।

मुख्य सचिव ने कहा कि आम जन से जुड़ी इस व्यवस्था का प्रचार-प्रसार आवश्यक है। उन्होंने संबंधित विभाग को आवश्यक कार्यवाही के निर्देश दिए। बैठक में प्रमुख सचिव आरके सुधांशु, स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण सचिव आर राजेश कुमार, अपर सचिव स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण तथा स्वास्थ्य निदेशालय, पंचायती राज, राजस्व विभाग, शहरी विकास, उत्तराखंड मेडिकल काउंसिल, अर्थ एवं संख्या निदेशालय एवं जनगणना कार्य निदेशालय, केंद्र सरकार के अधिकारी उपस्थित रहे।

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